इंदौर बोहरा समाज से राहुल गाँधी मिलते तो ‘मुल्ला’ घोषित हो जाते

पीएम मोदी ने कहा कि शाँति-सद्भाव, सत्याग्रह और राष्ट्रभक्ति के प्रति बोहरा समाज की अहम भूमिका रही है। इसलिए आप सबके बीच आना मुझे एक नया अनुभव देता है।
बोहरा समाज के गुरु सैयदना साहब की तारीफ़ करते हुए उन्होंने कहा कि सैयदना साहब ने समाज को जीने की सीख दी।
पीएम मोदी ने कहा कि अपने देश, मातृभूमि से प्रेम की सीख सैयदना साहब देते रहे हैं। सैयदना साहब ने गाँधीजी के साथ मिलकर मूल्यों की स्थापना में अहम योगदान दिया था।
बोहरा समाज के कार्यक्रम में हिस्सा बने पीएम मोदी को देखकर आध्यात्मिक गुरु आचार्य प्रमोद ने टिप्पणी की है। उन्होंने कहा कि जिस तरह से मोदी जी ने बोहरा समुदाय के लोगों से मस्जिद में मिलकर ख़ुद को उनके समाज का हिस्सा बताया, अगर इसी तरह राहुल गाँधी ने खुद को बोहरा समाज का हिस्सा कहा होता तो अबतक उन्हें मुस्लिम घोषित कर दिया जाता। सूत्रों के मुताबिक उन्होंने ट्वीट कर लिखा-
“मस्जिद में जाकर मोदी जी का ये बयान बहुत अच्छा है, कि मैं आपके समाज का हिस्सा हूँ, लेकिन अगर यही बात राहुल गाँधी ने कही होती, तो वो ‘मुल्ला’ हो जाता”।
ग़ौरतलब है कि सोशल मीडिया पर आपको राहुल गाँधी की कई ऐसी तस्वीरें मिलेंगी जिनमें कैप्शन के साथ उन्हें ‘मुल्ला’ लिखा जाता है।
राहुल गाँधी को मुल्ला लिखे जाने की वजह सिर्फ इतनी होती है कि वो इन तस्वीरों में अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों से मिलते-जुलते दिखाई देते हैं।