Paras Punj

Main Menu

  • होम
  • देश
  • विदेश
  • राज्य
  • बिजनेस
  • मनोरंजन
  • खेल
  • ज्योतिष
  • हेल्थ
  • धर्म-कर्म
  • लेख-विचार
  • अपराध
  • राजनीति
  • शिक्षा

logo

Paras Punj

  • होम
  • देश
  • विदेश
  • राज्य
  • बिजनेस
  • मनोरंजन
  • खेल
  • ज्योतिष
  • हेल्थ
  • धर्म-कर्म
  • लेख-विचार
  • अपराध
  • राजनीति
  • शिक्षा
लेख-विचार
Home›लेख-विचार›बेटी भगवान की बुराई सुन सकती है लेकिन पापा की नहीं ! संकलन👉 पी.एम.जैन

बेटी भगवान की बुराई सुन सकती है लेकिन पापा की नहीं ! संकलन👉 पी.एम.जैन

By पी.एम. जैन
December 16, 2018
985
0
Share:
👉:-  पीड़ित करने वाले के अगर बेटी होती और उसे विदा करने का अवसर आता तब उसे पता चलता कि अन्धकार किसे कहते हैं।
👉:-  हर बेटी अपने पापा से सबसे ज़्यादा प्यार क्यों करती है ?
👉:-  क्यों कि वह जानती है कि संसार में उसके पापा ही ऐसे व्यक्ति हैं जो उसे कभी दुखी देखना नहीं चाहते ।
👉:-  किसी  भी  परिवार  में पापा को डाँटने का अधिकार बेटी को ही होता है क्यों कि जिसे प्यार किया जाता है, उसे ही डाँटा जा सकता है ।
👉:-  मुझे मेरे एक मित्र ने कहा- मैं अपनी पत्नी से भी ज़्यादा प्यार अपनी बेटी को करता हूँ ।
👉:-  जब मैं बीमार होता  हूँ और बेटी हाल पूछने ससुराल से आती है तो मैं अपने सब दुख दर्द भूल जाता हूँ।
👉:-  मुझे भी लगता है कि विदाई के समय पापा को तकलीफ़ कम नहीं होती ।
👉:–  क्यों कि माँ तो सामने रो सकती है,पर पापा अन्दर ही अन्दर रोते हैं ।
👉:-  बेटी बीस बाईस की होने लगती है , उसके बाद
पापा का वात्सल्य और प्रेम बढने लगता है ।
👉:-  बेटी कभी माँ बनेगी, कभी दादी भी, पर दोस्त तो सदैव बनी रहेगी ।
👉:-  बेटी का सुख पापा के होंठों की मुस्कान है ।
👉:-  पापा के दुख में बेटी हथेली बनकर आँखों के आँसू पोंछती है ।
👉:-  देखते ही देखते पता ही नहीं चलता कि बेटी कब बड़ी हो जाती है और एक दिन सुहाग का जोड़ा पहन कर विदा हो जाती है ।
👉:-  जाते समय पापा से चिपक कर जब बेटी पापा से सजल नेत्रों से कहती है ।
👉:-  पापा, मैं जा रही हूँ ,मेरी चिन्ता मत करना और अपना ध्यान रखना ।
👉:-  और तब पापा अपनी आँखों में उमड़ते हुए आँसुओं को रोक नहीं पाते।
👉:- हर एक पापा को भगवान से प्रार्थना करनी चाहिये- हे प्रभो ! तुम संसार के सभी पुरूषों को सात्विक और समझदार बनाना क्यों कि उन्हीं में से एक मेरी बेटी का पति बनेगा ।
👉:-  संसार की सभी स्त्रियों को बहुत प्रेममय बनाना क्यों कि उन्हीं में से कोई मेरी बेटी की सास या ननद बनने वाली है ।
👉:-  हाल ही में सेवानिवृत एक मित्र ने मुझसे कहा- यदि आपके घर में बेटी नहीं है तो पापा बेटी की घनिष्ठता के बारे में नहीं जान सकते ।
👉:-   बस इतना सा ख़याल रखना चाहिये  कि पुत्रवधू बेटी की तरह रहे और बेटी को उसके पापा के बारे में कुछ कटुवचन न कहा जाये ।
👉:-  क्यों कि बेटी भगवान बारे में बुराई सुन सकती है लेकिन अपने पापा के बारे में नहीं।
🙏उन पिताओं को समर्पित जो अपनी लाड़ली बेटियों के पापा हैं ।
Previous Article

राजस्थान के लगभग 60 लाख किसान कर्जदार, ...

Next Article

हमारे हिन्दुस्तान की कुछ बातें हमें करती ...

0
Shares
  • 0
  • +
  • 0
  • 0
  • 0
  • 0

Related articles More from author

  • लेख-विचार

    पिता पक्ष को समर्पित

    November 15, 2018
    By पी.एम. जैन
  • लेख-विचार

    दान की पहली शर्त है-अपने अहंकार और अपनेपन का निशशेष भाव से समर्पण👉डा. निर्मल जैन(से.नि.जज)

    March 18, 2020
    By पी.एम. जैन
  • लेख-विचार

    अपने से भी तो पूछ कर देखें क्या हम भी अपने हैं?- डा.निर्मल जैन *जज*

    May 4, 2022
    By पी.एम. जैन
  • लेख-विचार

    🌺नव वर्ष संकल्प🌺 नए साल को एक नयी परिपाटी प्रारंभ करें-डॉ.निर्मल जैन(जज से.नि.)

    December 30, 2022
    By पी.एम. जैन
  • लेख-विचार

    कारोना तू तो है भक्षक लेकिन हम तुझमें भी देख रहे हैं शिक्षक👉डा.निर्मल जैन(से.नि.जज)

    May 29, 2020
    By पी.एम. जैन
  • लेख-विचार

    धर्म के सर्वोच्च संत करें शिथिलाचारी संतों का उपचार

    October 7, 2018
    By admin

  • जैन समाचार

    *सुरेश जैन आईएएस “बाबू बालचंद्र मलैया स्मृति पुरस्कार” एवं न्यायमूर्ति विमला जैन”समाज गौरव”उपाधि से अलंकृत*

  • धर्म-कर्म

    ” दूसरों से क्षमा मांगने से पहले स्वयं से क्षमा मांगे” पंडित रतन लाल शास्त्री

  • धर्म-कर्म

    वस्तुओं से ममत्व का परित्याग आकिंचन्य धर्म है

ताजा खबरे

  • 17 जनवरी को शनिदेव का कुम्भ राशि में प्रवेश जानिए शुभाशुभ योग
  • वैदिक ज्योतिष से जानिए इन पांच कारणों से आती है नौकरी-बिजनेस में बाधा, ये हो सकते हैं उपाय
  • दिखाओ चाबुक तो झुक कर सलाम करते हैं, हम वो शेर हैं जो सर्कस में काम करते हैं।-डॉ. निर्मल जैन (जज)
  • श्री सम्मेद शिखर जी प्रकरण- नवबर्ष पर समस्त जैन समाज की पहली जीत
  • 🌺नव वर्ष संकल्प🌺 नए साल को एक नयी परिपाटी प्रारंभ करें-डॉ.निर्मल जैन(जज से.नि.)
  • शास्त्रि-परिषद का विद्वत् शिक्षण प्रशिक्षण शिविर का द्वितीय दिवस
  • अहिंसा संविधान की मूल भावना-अशोक गहलोत मुख्यमंत्री (राजस्थान)
  • अंग्रेजी नूतन वर्ष 2023 पर विशेष : कलेंडर बदलिए अपनी संस्कृति नहीं -डॉ सुनील जैन, संचय, ललितपुर
  • शिखर जी प्रकरण पर संत गर्जना- जनबल से झुकती है सरकार, 18 दिसम्बर को लालकिला मैदान पर आओ 50 हजार
  • पांच सौ वर्षों के बाद नवरंगपुर मुनिराजों का मंगलप्रवेश

Find us on Facebook

विज्ञापन

मेन्यू

  • होम
  • देश
  • विदेश
  • राज्य
  • बिजनेस
  • मनोरंजन
  • खेल
  • ज्योतिष
  • हेल्थ
  • धर्म-कर्म
  • लेख-विचार
  • अपराध
  • राजनीति
  • शिक्षा

ताजा खबरे

  • 17 जनवरी को शनिदेव का कुम्भ राशि में प्रवेश जानिए शुभाशुभ योग
  • वैदिक ज्योतिष से जानिए इन पांच कारणों से आती है नौकरी-बिजनेस में बाधा, ये हो सकते हैं उपाय
  • दिखाओ चाबुक तो झुक कर सलाम करते हैं, हम वो शेर हैं जो सर्कस में काम करते हैं।-डॉ. निर्मल जैन (जज)
  • श्री सम्मेद शिखर जी प्रकरण- नवबर्ष पर समस्त जैन समाज की पहली जीत
  • 🌺नव वर्ष संकल्प🌺 नए साल को एक नयी परिपाटी प्रारंभ करें-डॉ.निर्मल जैन(जज से.नि.)
  • शास्त्रि-परिषद का विद्वत् शिक्षण प्रशिक्षण शिविर का द्वितीय दिवस
  • अहिंसा संविधान की मूल भावना-अशोक गहलोत मुख्यमंत्री (राजस्थान)
  • अंग्रेजी नूतन वर्ष 2023 पर विशेष : कलेंडर बदलिए अपनी संस्कृति नहीं -डॉ सुनील जैन, संचय, ललितपुर
  • Home
  • Contact Us