Home›धर्म-कर्म›मुनि प्रमाण सागर जी महाराज का मनाया गया 35 वां दीक्षा जयंती, शुरू हुआ पंचकल्याणक प्रतिष्ठा महोत्सव।*, डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद ने किया महोत्सव का उद्घाटन, लिया आशीर्वाद।
मुनि प्रमाण सागर जी महाराज का मनाया गया 35 वां दीक्षा जयंती, शुरू हुआ पंचकल्याणक प्रतिष्ठा महोत्सव।*, डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद ने किया महोत्सव का उद्घाटन, लिया आशीर्वाद।
*पटना सिटी :*मुनि श्री 108 प्रमाण सागर सागर जी महाराज का 35 वां दीक्षा दिवस महोत्सव कंगन घाट स्थित बने पंचकल्याणक प्रतिष्ठा मुख्य पूजा पंडाल में भक्तों ने श्रद्धापूर्वक मनाया। साथ ही श्री मज्जिनेन्द्र जिनबिम्ब पंचकल्याणक प्रतिष्ठा महोत्सव का भव्य शुभारंभ बिहार के उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद ने दीपप्रज्वलन व चित्र अनावरण से किया। उसके बाद समिति के पदाधिकारियों ने उपमुख्यमंत्री का तिलक, मुकुट, माला पहनाकर सम्मानित किया। इस क्रम में अपनी-अपनी वाणी को अनेक वक्ताओं ने गुरु चरणों में समर्पित किया।
मुनि प्रमाण सागर जी महाराज के दीक्षा दिवस के अवसर पर भक्तों ने उनके श्री चरणों में सैंकड़ो श्री फल और विभिन्न प्रकार के अर्घ्य समर्पित कर आशीर्वाद ग्रहण किया। कार्यक्रम का निर्देशन मुनि श्री अरह सागर जी महाराज ने किया।
*पूरे बिहार में खुलेआम मांसाहार बिक्री पर लगेगी रोक – डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद*
इस मौके पर डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद ने कहा कि जैन धर्म के 24वें तीर्थंकर भगवान महावीर का जीवन हमें सत्य, करुणा व त्याग के महत्व के बताता है। उन्होंने अहिंसा को सबसे उच्चतम नैतिक गुण बताया था। उनकी शिक्षाएं हमें मानवता की सेवा करने के लिए प्रेरित करती है। भगवान महावीर का संदेश आज भी प्रासंगिक है। वहीं जैन समाज को आश्वासन देते हुए उपमुख्यमंत्री ने कहा कि पुरे बिहार में खुले-आम मांस-मछली विक्रय पर प्रतिबंध लगाया जायेगा। साथ ही महावीर जयंती पर राजकीय अवकाश को लेकर मुख्यमंत्री महोदय के समक्ष बात रखेंगे।
*भगवान महावीर की मानों तो वीर बन जाओगे – मुनि प्रमाण सागर*
भगवान महावीर का जन्म- कल्याणक मनाना तभी सार्थक होगा जब हम उनके आदर्शों को अपने जीवन में कुछ अंशों में ही सही, आत्मसात् करेंगे। हमारा दृष्टिकोण अनुसरण का होना चाहिए। हम अपने विचारों की शुद्धि करें, विकारों का शमन करें। जीवन में मर्यादाओं की सुरक्षा करें और संस्कारों की ज्योति जगायें। तभी भगवान महावीर के इस दर्शन को हम जन-जन का दर्शन बनाने में समर्थ बन सकेंगे।