नारी शक्ति को शराब का नशा देना सम्पूर्ण नारी जाति का अपमान-पारस जैन”पत्रकार”

👉एक अप्रैल 2020 को मध्य प्रदेश सरकार द्वारा 6 वर्ष से लेकर 10 वर्ष तक के बच्चों एवं गर्भवती महिलाओं को कुपोषण की आड़ में अंडा देने की योजना बनाई है| यदि आज हम बचपन से ही मासूम बच्चो को अंडा देंगे तो कल वह माँस-मदिरा(शराब) का सेवन भी कर सकते हैं जिसके अन्तर्गत मासूम बच्चों का भविष्य के साथ खिलवाड़ हो जाएगा|
👉”गांघी तेरे देश मे यह क्या हो रहा नारी शक्ति को शराब का सेवन हो रहा।।”
कहते हैं कि जब विनाश का समय आता है तो बुद्धि भी संस्कृति सभ्यता और संस्कारो के विपरीत हो जाती है|
आज सुशासन नहीं बल्कि कुशासन की आहट के तहत👉मध्य प्रदेश सरकार के मुख्यमंत्री कमलनाथ के मन-मष्तिक में ऐसे ही विनाशकारी विचार आए हैं जिसमें 👉 एक साइड तो अंडा देने का विचार कर रहे हैं और 👉दूसरी साइड महिलाओं को शराब सेवन के लिए प्रोत्साहित कर रहे हैं कहते हैं कि माँ के द्वारा दिए गए बचपन मे सद संस्कार पचपन की दहलीज तक भी बने रहते हैं। यह यथार्थ सत्य है कि 100 शिक्षक भी बचपन में वह संस्कार नहीं डाल सकते जो एक माँ अपने बच्चे में डाल सकती हैं|
एक माँ रूप जनता का प्रतिनिधित्व करने वाली यह मध्य प्रदेश सरकार की केसी बलिहारी है जो महिलाओ को शराब पिलाने पर उतारू है। अपनी आय बढ़ाने के लिए महिलाओं को शराब का सेवन करने के लिए प्रोत्साहित कर रही है ।सबसे पहले भोपाल ,इंदौर, जबलपुर और ग्वालियर में एक एक दुकानें खोली जाएेंगी फिलहाल अभी इस प्रकार की दुकानें मैट्रो सिटी में ही उपलब्ध है। बाद में मध्य प्रदेश सरकार हर जगह महिलाओं के लिए विशेष रूप से शराब की दुकानें खोलकर उन्हें शराब परोसना चाहती है यह भारतीय सभ्यता संस्कृति पर कुठाराघात है ।माननीय मूल्य तार-तार करने वाली यह योजना है। मै लेखक पारस जैन पार्श्वमणि सम्पूर्ण मध्य्प्रदेश की मातृ शक्ति से आह्वान करता हूँ कि आप सब महिलाये विभिन संस्थाओं और संगठनों के माध्यम से एक बेनर के नीचे आकर इसका जबरदस्त विरोध करे।।
