आगरा-: 12 अगस्त!! उत्तर प्रदेश की ताजनगरी आगरा में ईद-उल-अजहा यानी बकरीद ईद के मौके पर लोगों में एक खास खुशमिजाज़ी व उत्साह देखने को मिला है। ईद के मौके पर यहाँ स्थानीय मस्जिदों में नमाज अदा की गई, इसके बाद कुर्बानियों का दौर शुरू हुआ लेकिन यहाँ एक परिवार ने अद्भुत एवं सराहनीय कार्य किया है, इस परिवार ने “जीव रक्षा” को प्राथमिकता देते हुए “इको फ्रेंडली बकरीद”मनाई है। कलमा पढ़ते हुए परिवार ने “केक काटकर” एक दूसरे को खिलाया और ईद की मुबारकबाद दी है। परिवार का मानना है, इस तरह के प्रयास से उन्होंने अहिंसा के तहत लोगों को “जीव हत्या” रोकने का संदेश दिया है।
जानकारी के मुताबिक “इको फ्रेंडली बकरीद” को मनाने की नींव “शाहगँज आजमपाड़ा” में रहने वाले गुलचमन शेरवानी वंदेमातरम के प्रति प्रेम रखने और तिरंगा पहनने के लिए मशहूर हैं| आपको बता दें कि इनका घर भी “तिरंगा महल” के नाम से जाना जाता है। गुलचमन बताते हैं कि 2017 में उन्होंने बकरीद पर कुर्बानी करने के लिए एक बकरा खरीदा और उसका पालन-पोषण करने लगे लेकिन कुछ महीनों बाद परिवार वालों एवं परिवार के बच्चों का उस बकरे से इतना प्रेमभाव बड़ा कि ईद के मौके पर जब बकरे की कुर्बानी का समय आया तो परिवार के बच्चों ने उसकी कुर्बानी करने से इन्कार कर दिया।
परिवार एवं बच्चों का एक मूकप्राणी के प्रति इतना प्रेम देखते हुए गुलचमन ने बकरे को बेच दिया और जो पैसे मिले वह “बाढ़ पीड़ितों” की मदद के लिए दे दिया था। उस दिन के बाद गुलचमन बकरीद के समय हर साल यही कर रहे हैं।